प्राचार्य
“शिक्षा मनुष्य में पहले अन्तर्निहित पूर्णता की उद्घोषणा है।”
– स्वामी विवेकानंद
विद्यालय एक ऐसा स्थान है जहां छात्र शिक्षार्थी के रूप में एवं शिक्षक एक प्रशिक्षक के रूप में क्रमशः सीखने एवं सिखाने जैसी पूजा में संलिप्त हैं। इसका उद्देश्य एक रचनात्मक वातावरण प्रदान करना है जहां शिक्षार्थी उत्कृष्टता एवं व्यक्तित्व का प्राकृतिक रूप से विकास कर सकें एवं महान राष्ट्र की निस्वार्थ सेवा के लिए स्वयं को तैयार कर सकें। यह सभी को समान रूप से कल्पना के पंख से उड़ने एवं रचनात्मक जीवन के लिए अवसर प्रदान करता है।
मैं हमेशा अपने विद्यार्थियों में जिज्ञासा की भावना, कार्य करने की इच्छा, उत्तरदायित्व का बोध , दूसरों के प्रति आदर एवं संस्कृति, सभ्यता तथा आधुनिकता के सामंजस्यपूर्ण मिश्रण को संरक्षित करने की समझ को भरना चाहता हूँ । केंद्रीय विद्यालय संगठन के मिशन को पूरा करने के लिए, मैं सभी शिक्षको ,विद्यार्थियों एवं अभिभावकों कि सहायता एवं सच्चे प्रयास कि अपेक्षा करता हूं।